उत्तर प्रदेश से चार कैबिनेट मंत्री, दो स्वतंत्र प्रभार राज्यमंत्री

मोदी सरकार पार्ट-2 में
लखनऊ,। लोकसभा चुनाव 2०19 में उत्तर प्रदेश के नौ सांसदों को नरेंद्र मोदी सरकार में शामिल किया गया। इनमें चार को कैबिनेट मंत्री दो को स्वतंत्र प्रभार राज्य मंत्री तथा तीन को राज्यमंत्री के रूप में शपथ दिलाई है। अमेठी से सांसद स्मृति जुबिन ईरानी ने कैबिनेट मंत्री तथा फतेहपुर से सांसद साध्वी निरंजन ज्योति राज्य मंत्री के रूप में शपथ ली है।
भारतीय जनता पार्टी व सहयोगी को सर्वाधिक 64 सीट दिलाने वाले उत्तर प्रदेश के नौ सांसदों को नरेंद्र मोदी सरकार में शामिल किया गया है। इनमें चार को कैबिनेट मंत्री, दो को स्वतंत्र प्रभार राज्य मंत्री तथा तीन को राज्यमंत्री के रूप में शपथ दिलाई गई है। मंत्रियों में उत्तर प्रदेश से दो महिलाओं को भी मंत्री पद दिया गया है।
नरेंद्र मोदी मंत्रिमंडल में 2०14 की अपेक्षा इस बार उत्तर प्रदेश के सांसदों को सरकार में शामिल होने का उतना मौका नहीं मिला, जितने की उम्मीद थी। मंत्रिमंडल में पिछले सरकार में कुछ मंत्रियों को इस बार जगह नहीं मिली। इनमें मेनका गांधी का नाम अहम है। इसके अलावा अपना दल की अनुप्रिया पटेल, डॉ महेश शर्मा, और सत्यपाल सिह को भी जगह नहीं मिल सकी। लखनऊ से दोबारा जीतकर संसद पहुंचे राजनाथ सिह ने प्रधानमंत्री मोदी के बाद कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली। राजनाथ सिह पिछली सरकार में भी गृहमंत्री बने थे।
उत्तर प्रदेश से इनके साथ कुछ नाम ऐसे भी हैं जिन्हें जगह नहीं मिल सकी। इनमे प्रमुख नाम मेनका गांधी का है। आठवीं बार सांसद बनीं मेनका गांधी पिछली सरकार में महिला एवं बाल कल्याण मंत्री रहीं थी। मेनका गांधी को इस बार कैबिनेट में जगह नहीं मिली। माना जा रहा है कि उन्हें कोई अन्य महत्वपूर्ण जिम्मेदारी सौंपी जा सकती है। चर्चा है उन्हें लोकसभा अध्यक्ष बनाया जाएगा। मेनका गांधी के अलावा पिछले सरकार में पर्यटन मंत्री रहे और नोएडा से तीसरी बार सांसद बने डॉ महेश शर्मा को भी कैबिनेट में जगह नहीं मिली है। इसबार उनको संगठन में लाया जाएगा। मुंबई के पूर्व कमिशनर और बागपत से दोबारा सांसद बने सत्यपाल सिह भी मोदी की टीम में शामिल नहीं हो सके। इस बार उन्होंने जयंत चौधरी को हराया है। पहली बार जीतने के बाद ही मोदी सरकार में राज्यमंत्री बने थे।
गाजीपुर लोकसभा सीट से इस बार चुनाव हारने वाले भाजपा के कद्दावर नेता मनोज सिन्हा को भी जगह नहीं मिली है। माना जा रहा था कि उनकी कार्यकुशलता को देखते हुए उनको मोदी कैबिनेट में शामिल किया जाएगा। पिछली सरकार में रेल राज्यमंत्री के साथ स्वतंत्र प्रभार मंत्री के रूप में दूरसंचार व डाक विभाग मंत्रालय भी उनके पास था।
उत्तर प्रदेश में 64 सीट जीतने में अहम भूमिका निभाने वाले भाजपा प्रदेश अध्यक्ष और चंदौली से सांसद डॉ महेंद्रनाथ पांडेय ने भी कैबिनेट मंत्री पद की शपथ ली। पिछली सरकार में राज्य मंत्री थे। इसके बाद में उन्हें हटाकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बनाया गया था।
उत्तर प्रदेश में भाजपा के सहयोगी दल अपना दल की संरक्षक और मिर्ज़ापुर से सांसद अनुप्रिया पटेल भी मंत्री नहीं बनी हैं। वह राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार की मांग कर रही थीं। मोदी सरकार में वित्त राज्यमंत्री व पूर्वांचल के ब्राह्मण चेहरा माने जाने वाले शिव प्रताप शुक्ला भी इस बार कैबिनेट में शामिल नहीं हो सके।
नरेद्र मोदी मंत्रिमंडल में एकलौते मुस्लिम चेहरे उत्तर प्रदेश से राज्यसभा सदस्य मुख्तार अब्बास नकवी हैं। नकवी पिछली सरकार में भी मंत्री थे। बरेली से आठवीं बार सांसद चुने गए वरिष्ठ नेता संतोष गंगवार को भी मोदी कैबिनेट में जगह मिली है। उन्होंने राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार के तौर पर शपथ ली। पिछली सरकार में गंगवार राज्य मंत्री थे। यूपी से राज्यसभा सांसद हरदीप सिह पूरी को भी मोदी कैबिनेट में शामिल किया गया है। उनको राज्यमंत्री बनाया गया है। पिछली सरकार में भी राज्यमंत्री थे। मुजफ्फरनगर से रालोद अध्यक्ष अजीत सिह को हराकर दुबारा जीतने वाले सांसद संजीव बालियान को भी मोदी कैबिनेट में जगह मिली है। उन्होंने राज्यमंत्री के तौर पर शपथ ली। संजीव बालियान पिछली सरकार में भी मंत्री थे। 2०17 में उन्हें हटा दिया गया था। फतेहपुर से दोबारा सांसद चुनी गई साध्वी निरंजन ज्योति ने भी राज्यमंत्री के तौर पर शपथ ग्रहण की।